लखनऊ. उत्तर प्रदेश में 10 दिसंबर से नागरिकता कानून के विरोध में प्रदर्शन हो रहे हैं। लेकिन, बीते 4 दिनों से आधे प्रदेश में हिंसक आंदोलन की तस्वीरों ने हिलाकर रख दिया है। प्रदेश में अब तक 15 लोगों की मौत हो गई है। रामपुर और कानपुर में 26 लोग घायल हुए हैं। तोड़फोड़ और आगजनी में करोड़ों रुपए के राजस्व को नुकसान पहुंचा है। प्रदेश में सुरक्षा एजेंसियां अलर्ट पर हैं। 31 जनवरी 2020 तक धारा 144 प्रभावी कर दी गई है। 27 शहरों में इंटरनेट सेवाएं ठप है। आईजी कानून व्यवस्था प्रवीण कुमार ने बताया कि 10 दिसंबर से अब तक 705 लोग गिरफ्तार किए गए हैं।
हिंसा में हो रहा अवैध असलहों का प्रयोग
आईजी कानून व्यवस्था ने बताया कि प्रदेश में 4500 लोगों को शांति भंग की आशंका में पाबंद किया गया है। अब तक हिंसा के दौरान 15 लोगों की मौत हुई है। आईजी ने कहा- हिंसा में 263 पुलिसकर्मी घायल हुए हैं। इनमें 57 गोली लगने से घायल हुए हैं। हिंसा में बड़े पैमाने पर प्रदर्शनकारियों ने अवैध असलहों का उपयोग किया है। पुलिस ने 405 खोखे बरामद किए हैं।
सोशल मीडिया पर भी पुलिस की नजर
सोशल मीडिया पर 13,101 पोस्ट के खिलाफ कार्रवाई हुई है। इस मामले में 63 एफआईआर लिखी गई है। 102 आरोपियों को गिरफ्तार किया गया है। 442 लोगों को शांतिभंग की आशंका में हिरासत में लेने के बाद रिहा कर दिया। उन्हें पाबंद किया गया है।